Essay of newspaper in hindi : वर्तमान में ये बेहद जरूरी है कि आपको दुनियां भर में क्या हो रहा है वो सब पता हो और इसके लिए कई दूरसंचार के माध्यम है जैसे टीवी, रेडियो और समाचारपत्र। समाचारपत्र दूरसंचार का एक ऐसा माध्यम है जिससे हम दुनियां के हर कोने के बारे में हर तरह की जानकारी पा सकते हैं। कुछ लोग तो न्यूज़पेपर पढने के आदी होते हैं और अगर सुबह सुबह उन्हें वो पढने को न मिले तो परेशान हो जाते है। सुबह चाय के साथ हाथो में समाचार पत्र लिए दिन की शुरवात हर कोई करना चाहता है।

Essay of newspaper in hindi
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भारत में समाचार पत्र की शुरूवात
जब दूरसंचार माध्यम नही थे तब घोड़ो और कबूतरो के जरिए एक दूसरे की खैर खबर एक दूसरे तक पहुचाई जाती थी लेकिन विज्ञान ने कम समय में लाखो लोगो तक समाचार पहुँचाना आसान बना दिया है। समाचार पत्र की शुरवात अंग्रेजो के जमाने में हुई। भारत में सबसे पहला समाचार पत्र 1780 में छपा था। ये था “दी बंगाल गैजेट” समाचार पत्र। यह कलकत्ता में प्रकशित हुआ था।
देश के लोकप्रिय समाचार पत्र
हिंदी भाषा
- अमर उजाला
- दैनिक जागरण
- पंजाब केसरी
- हिंदुस्तान टाइम्स
- नवभारत टाइम्स
अंग्रेजी के प्रचलित समाचार पत्र
- द टाइम्स ऑफ़ इंडिया
- हिंदुस्तान टाइम्स
- इंडियन एक्सप्रेस
समाचार पत्र से होने वाले लाभ
- समाचार पत्र हर भाषा में उपलब्ध हैं चाहे वो हिंदी हो या अंग्रेजी हो या हो कोई और क्षेत्रीय भाषा। न्यूज़पेपर हमे देश, विदेश सभी जगहों के समाचार देता है। प्रधानमंत्री जी हमारे देश से क्या कहना चाहते हैं और वो क्या योजनाएं लोगो के लिए चलाने वाले है ये सभी जानकारी समाचार पत्र से मिल जाती है।
- पढने वाले बच्चो को तो खास तौर पर समाचार पत्र पढ़ने की सलाह दी जाती है। इससे उनका सामान्य ज्ञान अच्छा बना रहता है और उनकी वोकैबुलरी भी अच्छी हो जाती है। स्कूल जाने वाले बच्चो को घर के बड़े खासतौर पर इंग्लिश पेपर पढने को कहते हैं ताकि उनकी इंग्लिश सुधरे और करंट अफेयर्स के बारे में उनको पूरी जानकारी हो। ये अच्छी आदत उन्हें आगे आने वाले समय में कम्पटीशन के लिए तैयार करती है।
- समाचार पत्र से देश-विदेश में रही राजनितिक घटनाओं की जानकारी मिलती है। दुनियां भर में हो रहे नए नए अनुसंधानों के बारे में समाचार पत्र से पता चलता है।
- देश विदेश में आ रही प्राकर्तिक विपदा और उससे होने वाले नुकसानों के बारे में भी समाचार पत्र से पता चलता है। कोरोना काल में दुनिया भर में फैलने वाले इस वायरस के बारे में हमे रोज जानकारी मिलती रही है। इतना ही नही इससे बचने के उपायों के बारे में भी अखबारों से लोगो को पता चला।
- समाचार पत्र सिर्फ जानकारी का साधन नही बल्कि कई लोगो के रोजगार का भी साधन है जैसे रिपोर्टर्स, संपादक, समाचार विक्रेता और समाचार पत्र बाटने वाले लोग।
- समाचार पत्र से ग्राहकों को तरह तरह के समाचार मिलते हैं जैसे खेल -कूद, सामजिक, मनोरंजन, आर्थिक, साहित्यिक लेख, सेहत से जुडी जानकारी, राजनितिक और भी कई तरह के समाचार। टीवी पर भी समाचार आते हैं फिर भी लोग सुबह सुबह अख़बार पढना पसंद करते है।
- समाचार पत्र में सिर्फ समाचार या जानकारी ही नही होती उसमे नौकरियों के इश्तेहार भी होते हैं जिसका लाभ नौकरी की तलाश करने वाले लोग उठा सकते है। इसमें सरकारी और प्राइवेट दोनों तरह की नौकरियों के इश्तिहार होते है।
- समाचार पत्र में जमीन खरीदने और प्लाट भेजने या किराए पर देने के विज्ञापन भी होते है। इन जानकारी का लाभ उठकर लोग जरुरत अनुसार सबंधित व्यक्ति से संपर्क कर सकते है।
- समाचार पत्र में रोज राशिफल भी छपा होता है जिसे कई लोग बड़े चाव से पढ़ते हैं। कुछ लोग उन राशिफल में बोली जाने वाली बातो को सच मानते हैं और कुछ नही।
- इसमें महिलाओ के काम आने वाली जानकारी भी छपी होती है जैसे रेसिपीज, ब्यूटी टिप्स, ट्रेंडिंग फैशन आदि।
उपसंहार
समाचार पत्र बहुत जरूरी है लेकिन ये धीरे धीरे अपनी महत्वता खोता जा रहा है। इन्टरनेट के आने के बाद लोग अब समाचार पत्र की जगह अपने फ़ोन या लैपटॉप पर ही समाचार पढ़ लेते है। इस विरोधाभास के चलते भी आज भी कई लोग समाचार पत्र को पढ़े बिना नही रह सकते। समाचार का अस्तित्व कल भी था, आज भी है और कल भी रहेगा।