Corn Flour in Hindi: हर भारतीय घर में स्नैक्स बनते रहते हैं और इन स्नैक्स को बनाने के लिए बेसन, मैदा और कॉर्न फ्लोर का इस्तेमाल होता रहता है। आज हम इस पोस्ट में कॉर्न फ्लोर के बारे में विस्तार से बात करेंगे।
कॉर्न फ्लोर क्या है ?
कॉर्न फ्लोर यानी मक्की का आटा। कॉर्न फ्लोर वो आटा है जिसका उपयोग कई तरह के स्नैक्स बनाने के लिए किया जाता है जैसे आलू टिक्की।
कॉर्न फ्लोर को किस किस नाम से पुकारा जाता है?
इस आटे को भारत में और ब्रिटेन में कॉर्न फ्लोर बोलते हैं और अमेरिका में इसे कॉर्न स्टार्च के नाम से जाना जाता है।
Corn Flour को हिंदी में क्या कहते हैं
Corn Flour को हिंदी में मक्की का आटा कहते हैं लेकिन वो मक्की की रोटी वाला नही होता है। दोनों में अंतर है।
मक्के के आटे और कॉर्न फ्लोर में अंतर
मक्के के आटा दो प्रकार का होता है एक दरदरा पिसा हुआ आटा जिससे मक्की की रोटी बनाई जाती है और एक होता है कॉर्न फ्लोर या कॉर्न स्टार्च। मक्की के दानो को अच्छे से सुखाने के बाद इसे पीसा जाता है, इसे मक्की का आटा कहते है। जब मक्की के दानो के का छिलका उतार कर इसके अन्दर के सफ़ेद हिस्से को बारीक़ पीसा जाता है तो उसे कॉर्न स्टार्च या कॉर्न फ्लोर कहते हैं।
कॉर्न फ्लोर और मैदे में फर्क
कई लोग कॉर्न फ्लौर और मैदे में फर्क नही समझ पाते। कॉर्न फ्लोर मक्के को छीलकर उसके सफ़ेद भाग को बारीक़ पीसकर तैयार किया जाता है और मैदा गेहूं को बारीक़ पीसकर तैयार किया जाता है।
कॉर्न फ्लौर के उपयोग
- कॉर्न फ्लोर रसोई में पाई जाने वाली चीजो में एक है। इसका प्रयोग कई तरह की डिशेस को बनाने में इस्तेमाल होता है।
- इसका प्रयोग कटलेट, कोफ्ते और टिक्की बनाने के लिए किया जाता है। ये इसलिए उपयोग होता है क्योकि ये डालने से टिक्की या कटलेट तलते वक्त टूटते नही हैं।
- आइसक्रीम दूध से बनती हैं और अगर दूध पतला हो तो उसको गाड़ा करने के लिए कॉर्न फ्लौर का इस्तेमाल किया जाता है।
- इसके अतिरिक्त कॉर्नफ्लोर का उपयोग सूप और सॉस बनाते समय उसे गाढ़ा करने के लिए भी किया जा सकता है।
- जब भी पनीर टिक्का बनाया जाता है पनीर को कॉर्न फ्लोर के गोल में ही मेरिनेट किया जाता है।
- कुछ लोग फल को बेक करने के लिए कॉर्न स्टार्च का इस्तेमाल करते है।
- कॉर्न स्टार्च का इस्तेमाल बेबी पाउडर बनाने में भी होता है।
- कॉर्न स्टार्च का इस्तेमाल कुछ मेडिकल प्रोडक्ट्स बनाने में भी किया जाता है जैसे मेडिकल ग्लव्स और डायफ्राम कंडोम्स।
- एयरबैग और बायोप्लास्टिक्स बनाने में भी कॉर्न फ्लोर का इस्तेमाल होता है।
- कुछ डिशेस में बाइंडिंग के लिए अरारोट का इस्तेमाल होता है। अगर अरारोट न हो तो उसकी जगह कॉर्न फ्लोर का इस्तेमाल किया जा सकता है।
- इसका इस्तेमाल डेजर्ट बनाने के लिए किया जाता है।
कोर्न फ्लौर के फायदे
- कॉर्न फ्लौर का इस्तेमाल गेहू, सूजी, मैदा की जगह इस्तेमाल हो सकता है।
- कॉर्न फ्लोर में पॉलीफेनोल्स एंटीओक्सिडेंट मौजूद होता है जो सूजन कम करने में मदद करता है।
- इसमें प्रोटीन और फाइबर भी होता है जो व्यक्ति की हेल्थ के लिए लाभदायक होता है।
- इसमें मौजूद सेल्यूलोस, ऐमिलोस और लिग्निन नाम का फाइबर होता है जो हमारे पाचन तंत्र के लिए अच्छा माना जाता है।
कॉर्नफ्लोर के नुकसान
चीज चाहे कोई भी को किसी भी चीज की अधिकता सेहत के लिए नुकसानदायक होता है।
- आर्गेनिक कॉर्न स्टार्च सेहत के लिए अच्छा है लेकिन बाज़ार में कई कॉर्न स्टार्च मिलते हैं जो जेनेटिकली रूप से फ़िल्टर किए जाते हैं और कुछ लोग इसमें खतरनाक कीटनाशक का भी इस्तेमाल करते हैं, ये सेहत के लिए नुकसानदायक है।
- इसके ज्यादा सेवन से वजन बढ़ सकता है क्योकि इसमें बहुत मात्र में कार्बोहायड्रेट और कैलोरीज होती हैं।
- इसके मौजूद कार्बोहायड्रेट कि वजह से व्यक्ति के शरीर में ब्लड शुगर का लेवल बड सकता है। इसलिए डायबिटीज के मरीजो को इसका कम इस्तेमाल करना चाहिए।
- इसके अधिक सेवन एलडीएल नमक कोलेस्ट्रोल बढ़ जाता है।
कॉर्न फ्लौर में कौन कौन से पोषक तत्व हैं?
कॉर्न फ्लोर में निम्न लिखित पोषक तत्व होते हैं –
- प्रोटीन 1.1 ग्राम
- एनर्जी 44 कैलोरीज
- फैट 0.5 ग्राम
- कार्बोहाइड्रेट 9.1 ग्राम
- विटामिन बी 1 (थियामाइन) 0.17 mg
- फाइबर 1.2 ग्राम
- विटामिन बी 3 (नियासिन) 1.17 mg
- विटामिन बी 2 (राइबोफ्लेविन) 0.09 mg
- कैल्शियम 16.9 mg
- फोलेट विटामिन बी 9 27.9 एमसीजी
- मैग्नीशियम 13.2 mg
- फॉस्फोरस 26.7 mg
- आयरन 0.86 mg
- पोटैशियम 35.7 mg
- जिंक 0.22 mg
ध्यान दें
हो सके तो कॉर्न फ्लोर घर पर ही तैयार करे क्योकि बाज़ार में मिलने वाला कॉर्न फ्लोर आर्गेनिक है या गलत तरह से किया प्रोसेस्ड ये जानना मुश्किल है और इसका इस्तेमाल सीमित मात्रा में ही करे।
कॉर्न फ्लौर को स्टोर कैसे करे
इसे हमेशा एयर टाइट कंटेनर में ही स्टोर करे और ड्राई और ठंडी जगह पर रखे। इससे कॉर्न फ्लोर ज्यादा समय तक सही रहेगा।